Bikaner News : इन युवाओं का सराहनीय प्रयास, कच्ची बस्तियों में परमार्थंम बच्चों में जगा रहा शिक्षा की अलख
बीकानेर. आजकल के युवा मोबाइल और इंटरनेट की दुनिया में ही अपनी जिंदगी समझ लेते है और इसका दुरुपयोग करने में लगे रहते है. लेकिन बीकानेर में परमार्थंम कच्ची बस्तियों के बच्चों में शिक्षा की नई अलख जगाने का प्रयास कर रहे है. परमार्थंम के सदस्यों द्वारा शहर के आस पास की कच्ची बस्तियों में जाकर इन बच्चों को निशुल्क शिक्षा के साथ संस्कार देने का भी काम कर रहे है .
राईका ने बताया
परमार्थंम प्रभारी पूनम राईका ने बताया कि इनके एनजीओ के 30 से 35 शिक्षक है जो हर दिन कच्ची बस्तियों में बच्चों को पढ़ाते है. वे बताते है कि वे कच्ची बस्तियों के बच्चों को पढ़ाना मोटिव नहीं है बल्कि पढ़ाने के साथ सबकुछ बच्चों को सिखाना है. वे बच्चों को हर चीज सिखाना चाहते है, जिससे कच्ची बस्तियों के बच्चे अनभिज्ञ है. वे बच्चों को सेल्फ डिफेंडेंट रहना सीखा रहे है जिससे ये बच्चे किसी के उपर डिफेंडेंट नहीं रहे.
उन्होंने बताया कि बीकानेर शहर के किनारे कच्ची बस्तीयों में वर्तमान में शिवबाड़ी में 15 माधव संस्कार केंद्र व भीनासर में 15 माधव संस्कार केंद्र व दोनों जगह कक्षा 6 से 8 तक के दो – दो कोचिंग सेंटर व शिवबाड़ी में कक्षा 9 व 10 कि एक कोचिंग व भीनासर में कक्षा 1 से 8 वीं तक 1 विद्यालय चल रहा है.
बीकानेर के शिवबाड़ी, भीनाशहर व् अन्य क्षेत्रो में करीबन 1250 बच्चों को हर दिन सुबह या शाम को शिक्षक पढ़ाते है. वे शिक्षा के साथ संस्कार और स्वावलम्बन भी सिखाते है . ऐसे में परमार्थंम के द्वारा शिक्षा की अलख जगाने का प्रयास सराहनीय है.
परमार्थम् का मुख्य उद्देश्य
राईका ने बताया कि परमार्थम् का मुख्य उद्देश्य शिक्षा के साथ साथ संस्कार देना है. भविष्य में बीकानेर की सभी कच्ची बस्तीयों में परमार्थम् के माध्यम से माधव संस्कार केंद्र संचालित किए जाएंगे व समाज को शिक्षा, संस्कार, स्वावलम्बन के माध्यम से एक श्रेष्ठ समाज का निर्माण किया जाएगा!