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Durga Ashtami 2023: दुर्गा अष्टमी पर जरूर करें ये 4 काम, दुर्गा कृपा से पाएंगे धन, सुख-समृद्धि और सफलता, खुलेगा तरक्की का द्वार

हाइलाइट्स

22 अक्टूबर को दुर्गा अष्टमी व्रत रखें और मां दुर्गा के 8वें स्वरूप मां महागौरी की पूजा करें.
दुर्गा अष्टमी पर 2 से 10 वर्ष की कन्याओं की पूजा करें.
दुर्गा अष्टमी के दिन आपको अपने घर पर नवरात्रि का हवन करना चाहिए.

शारदीय नवरात्रि की दुर्गा अष्टमी 22 अक्टूबर रविवार को है. दुर्गा अष्टमी पर सर्वार्थ सिद्धि योग और रवि योग बन रहा है. उस दिन सुबह 06:26 बजे से सर्वार्थ सिद्धि योग है, जो शाम 06:44 बजे तक है. इस योग में किए गए कार्य सफल सिद्ध होते हैं और मनोकामनाएं पूरी होती हैं. दुर्गा अष्टमी पर मां महागौरी की पूजा करते हैं. वे मां दुर्गा का आठवां अवतार हैं, जिनको आठवीं नवदुर्गा भी कहते हैं. इस दिन जो महागौरी को प्रसन्न करता है, उसे सुख और समृद्धि के साथ आयु में वृद्धि का आशीर्वाद मिलता है. दुर्गा अष्टमी के दिन आपको मां दुर्गा की कृपा प्राप्ति के लिए 4 काम जरूर करना चाहिए. काशी के ज्योतिषाचार्य चक्रपाणि भट्ट से जानते हैं कि दुर्गा अष्टमी पर कौन से 4 काम करना जरूरी होता है, जिससे संतान, धन, सुख-समृद्धि और सफलता मिलती है. तरक्की के द्वार खुलते हैं.

दुर्गा अष्टमी 2023: जरूर करें ये 4 काम
1. दुर्गा अष्टमी व्रत रखें
जो लोग नवरात्रि में 9 दिन का व्रत नहीं रखते हैं, वे पहले दिन और दुर्गा अष्टमी को व्रत रखते हैं. दुर्गा अष्टमी का व्रत महत्वपूर्ण माना जाता है. इस साल 22 अक्टूबर को दुर्गा अष्टमी का व्रत रखें और मां दुर्गा के 8वें स्वरूप मां महागौरी की पूजा विधि विधान से करें. पौराणिक कथाओं के अनुसार, माता पार्वती ने जब कठोर तप से भगवान शिव को प्रसन्न कर दिया तो भोलेनाथ ने उनको महागौर वर्ण प्रदान किया क्योंकि हजारों साल के कठोर तप से उनका शरीर काला और दुर्बल हो गया था. माता पार्वती के महागौर वर्ण वाले स्वरूप को महागौरी के नाम से जानते हैं.

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2. कन्या पूजा करें
वैसे तो आप नवरात्रि के प्रत्येक दिन कन्या पूजा कर सकते हैं, लेकिन यह संभव न हो तो दुर्गा अष्टमी के दिन कन्या पूजा अवश्य करें. इसमें आप 2 वर्ष से 10 वर्ष की कन्याओं की पूजा करें. उनकी संख्या 1 से लेकर 9 तक रख सकते हैं. कन्याओं को मां दुर्गा का प्रतीक मानते हैं. वैसे भी कहते हैं कि बच्चे भगवान का स्वरूप होते हैं. दुर्गा अष्टमी पर कन्या पूजा करने से मां दुर्गा का आशीर्वाद मिलता है. कन्याओं को उपहार और दक्षिणा देकर विदा करना चाहिए.

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3. नवरात्रि हवन करें
दुर्गा अष्टमी के दिन आपको अपने घर पर नवरात्रि का हवन करना चाहिए. हवन के माध्यम से आपका घर शुद्ध होता है और नकारात्मकता दूर होती है. इसके साथ ही आप नवदुर्गा, नवग्रह और अन्य देवी-देवताओं को हवन का अंश देकर खुश करते हैं. इससे ग्रह दोष शांत होंगे और दैवीय कृपा भी प्राप्त होगी.

4. महा अष्टमी की संध्या पर मां दुर्गा का खोइछा भरें
दुर्गा अष्टमी को संध्याकाल में आप किसी दुर्गा पंडाल में जाएं, जहां पर मातारानी विराजमान हों. वहां शाम के समय मां दुर्गा का खोइछा भरते हैं. खोइछा को सुख, समृद्धि और सौभाग्य का प्रतीक माना जाता है. विवाहित महिला जब अपने ससुराल या मायका जाती है तो शुभ के लिए उसके आंचल में अक्षत्, पान, सुपारी, दूर्वा, गांठ वाली हल्दी, रुपए आदि रखते हैं. इसे ही खोइछा कहा जाता है. इन सामग्रियों से मां दुर्गा का खोइछा भरें.

दुर्गा अष्टमी के दिन इन कार्यों को करने से मां दुर्गा प्रसन्न होंगी और आपको संतान, सुख, समृद्धि, धन, संपत्ति आदि की प्राप्ति का आशीर्वाद देंगी.

Tags: Dharma Aastha, Durga Pooja, Navratri, Navratri festival

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