ऐप पर पढ़ें
राजस्थान में विधानसभा चुनाव 2018 में पूर्वी राजस्थान में बीजेपी को करारी हार का सामना करना पड़ा था। जबकि कांग्रेस को बंपर जीत मिली। पूर्वी राजस्थान की कुल 39 सीटों में से बीजेपी को मात्र तीन जगह अलवर शहर, मुंडावर और धौलपुर से ही जीत मिली थी। जबकि कांग्रेस को यहां बंपर जीत मिली। इस बार बीजेपी ने पूर्वी राजस्थान के लिए अभी तक कोई कार्ययोजना नहीं बनाई है। जबकि कांग्रेस पूर्वी राजस्थान की जीवनदायिनी कहे जाने वाली ईआरसीपी को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने का मुद्दा जोर-शोक से उठा रही है। कांग्रेस की यात्रा 16 अक्टूबर को बारां जिले से प्रारंभ होकर पूर्वी राजस्थान के उन 13 जिलों में जाएगी। पूर्वी राजस्थान की 39 विधानसभा सीटों को साधने के लिए कांग्रेस ने यह यात्रा निकालने का निर्णय किया है। ईआरसीपी को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने और इसके लिए केंद्र सरकार से आर्थिक मदद की मांग को लेकर यात्रा निकालेगी। पूर्वी राजस्थान में एससी-एसटी और गुर्जर वोटर्स सत्ता का रास्ता तय करते है। इस बार दोनों ही दलों में कांटे की टक्कर बताई जा रही है।
कांग्रेस को 99 सीटों पर जीत मिली थी
राजस्थान में 2018 में 200 विधानसभा सीटों में 199 सीटों पर वोटिंग हुई और 2274 उम्मीदवार चुनावी मैदान में थे। कांग्रेस को 99 सीटों पर जीत मिली थी। जबकि बीजेपी को 73 सीटों पर जीत मिली। बीएसपी 6, सीपीएम 2, बीटीपी 2, राष्ट्रीय लोकदल 1, आरएलपी 3 और 13 निर्दलीय विधायकों ने जीत हासिल की। भाजपा और कांग्रेस ने प्रचार अभियान तेज कर दिया है। इस चुनाव में जीत हासिल करने के लिए दोनों दलों का फोकस इस बार युवा वोटर के साथ महिला मतदाताओं पर है। भाजपा ने जहां इन वर्ग के वोटर्स को साधने के लिए बूथ मैनेजमेंट करना शुरू कर दिया हैं। वहीं 2018 के चुनाव के बाद झटका खा चुकी कांग्रेस भी इन वर्गों को लेकर सजग, सतर्क नजर आ रही। क्योंकि 18 से 19 वर्ष के 22.36 लाख नए मतदाता पहली बार इन चुनावों में अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे।
किरोड़ी के जरिए साधेगी बीजेपी
सियासी जानकारों का कहना है कि बीजेपी ने इस बार सियासी समीकऱण साधने के लिए रणनीति बनाई है। पार्टी के बड़े केंद्रीय नेताओं की चुनावी सभाएं पूर्वी राजस्थान में कराने की योजना बनाई है। पूर्वी राजस्थान में जेपी नड्डा और अमित शाह सभा कर चुके हैं। सियासी जानकारों का कहना है कि पूर्वी राजस्थान में कांग्रेस को मात देने के लिए बीजेपी किरोड़ी लाल मीना का उपयोग करेगी। ऐसा माना जा रहा है कि बीजेपी सांसद किरोड़ी लाल मीना सवाई माधोपुर से विधानसभा का चुनाव लड़ सकते हैं। बीजेपी इस बार सासंदों को टिकट दे सकती है। सियासी जानकारों का कहना है कि एससी-एसटी और गुर्जर वोटर्स को साधने के लिए कांग्रेस ईआऱसीपी को मुद्दा उठाएगी।