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विज्ञान के युग में आज भी ऐसे चमत्कार होते हैं जो प्रकृति के रहस्यों के बारे में सोचने पर मजबूर कर देते हैं। अक्सर सांप को देखकर लोग उसके पास जाने से कतराते हैं लेकिन कोटा जिले के सांगोद कस्बे में ऐसा मामला सामने आया है जहां एक वृद्ध महिला सांप को कंधे पर लेकर इसलिए घूमती रही क्योंकि उसका मानना था कि वह उसके बेटे का पुनर्जन्म है। हैरानी की बात यह कि पूरे गांव में घूमने के दौरान सांप ने एक बार भी महिला को नुकसान नहीं पहुंचाया। वह चुपचाप उसके कंधे पर बैठा रहा।
गांव के लोगों ने किया था मारने का प्रयास
स्थानीय लोगों का कहना है कि जब उन्होंने एक घर में सांप को घुसते हुए देखा तो उसे मारने पहुंचे। इसी दौरान बादाई बाई वहां आ गईं और उन्होंने सांप को मारने से मना कर दिया। इसके साथ ही उसने सांप के हाथ जोड़े और कहा कि यदि वह देवता है तो रुक जाए नहीं तो घर से बाहर चला जाए। जब सांप अपनी जगह से नहीं हिला तो महिला उसके पास जाकर हाथ जोड़कर बैठ गई और उसे अपने बेटे का पुनर्जन्म बताया। इसके बाद सांप महिला की गोद में आकर बैठ गया। फिर थोड़ी देर बाद पत्थरों के पीछे चला गया।
18 साल पहले हुई थी महिला के बेटे की मौत
महिला के एक बेटे राजू लाल ने बताया कि उसके बड़े भाई हंसराज की 18 साल पहले परवन नदी में नहाने के दौरान डूबने से मौत हो गई थी। ऐसे में इस चमत्कार के बाद कहीं ना कहीं परिजनों में यह विश्वास हुआ कि सांप के रूप में हंसराज का पुनर्जन्म हुआ है। इसके बाद यह दृश्य देखने के लिए ग्रामीणों की भीड़ भी जमा हो गई। वहीं महिला ने सांप को चबूतरे पर कपड़ा बिछाकर छोड़ दिया। इसके साथ ही महिला और परिजनों ने सांप के ऊपर सफेद निशान बना दिए ताकि लोग उसे मारें नहीं।
स्नेक कैचर ने बताई सांप के नहीं काटने की वजह
सोशल मीडिया पर महिला के सांप को कंधे पर लेकर घूमते वीडियो सामने आने के बाद जानकारी के लिए स्नेक कैचर विष्णु श्रंगी से संपर्क किया गया। वीडियो और फोटो देखने के बाद स्नेक कैचर ने कहा कि यह सांप कोबरा प्रजाति का है। वीडियो देखने से लगता है कि यह किसी सपेरे द्वारा छोड़ा गया सांप है। इसके मुंह में विष ग्रंथी निकली हुई है या फिर सांप का मुंह किसी चीज से टकराने से चोटिल हो गया है। इसकी वजह से उसने महिला को कोई नुकसान नहीं पहुंचाया। हालांकि महिला ने उसे अपना बेटा बताया है इस बात को लेकर इलाके में चर्चा है।